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सहरसा में कबाड़ी व्यवसायी की संदिग्ध मौत पर बवाल, परिजनों के आरोप के बाद सौरबाजार थानाध्यक्ष लाइन हाजिर; चोरी मामले की जांच को SIT गठित
पूरी खबर:
सहरसा के सौरबाजार थाना क्षेत्र में कबाड़ी व्यवसायी मनोज कुमार साह की संदिग्ध परिस्थितियों में हुई मौत का मामला तूल पकड़ता जा रहा है। परिजनों के गंभीर आरोपों और निष्पक्ष जांच की मांग को देखते हुए कोसी कमिश्नरी रेंज के डीआईजी मनोज कुमार ने सौरबाजार थानाध्यक्ष अजय कुमार पासवान को लाइन हाजिर कर दिया है।
यह पूरा मामला करीब 15 दिन पहले हुए बिजली तार चोरी कांड से जुड़ा है। पुलिस ने इस चोरी में शामिल एक आरोपी को गिरफ्तार किया था। पूछताछ में आरोपी ने स्वीकार किया था कि चोरी किए गए तार उसने मनोज कुमार साह की कबाड़ी दुकान पर बेचे थे।
पुलिस ने 27 नवंबर को हिरासत में लिया, 28 को जमानत पर छोड़ा था
इस आधार पर पुलिस ने 27 नवंबर की शाम लगभग 5 बजे मनोज कुमार साह को हिरासत में लेकर पूछताछ की। पुलिस का दावा है कि उन्हें 28 नवंबर को जमानत पर छोड़ दिया गया था।
लेकिन परिजनों का कहना है कि हिरासत के दौरान मनोज के साथ पुलिस ने मारपीट की, जिसके कारण उनकी तबीयत लगातार बिगड़ती गई।
3 दिसंबर की सुबह मौत, परिजनों ने पुलिस पर लगाया आरोप
29 नवंबर को हालत गंभीर होने पर मनोज को सहरसा के एक निजी क्लिनिक में भर्ती कराया गया, जहां 3 दिसंबर की सुबह उनकी मौत हो गई।
परिजनों ने आरोप लगाया है कि पुलिस की पिटाई से ही मनोज की जान गई। शिकायत के बाद पुलिस ने मेडिकल बोर्ड से पोस्टमार्टम करवाया, जिसके बाद शव परिजनों को सौंपा गया।
डीआईजी के आदेश पर थानाध्यक्ष लाइन हाजिर, SIT जांच शुरू
मामले की गंभीरता को देखते हुए एसपी हिमांशु ने एक विशेष जांच दल (SIT) का गठन किया है, जो मृत्यु के कारणों, पुलिस कार्रवाई और आरोपों के सभी पहलुओं की गहराई से जांच कर रहा है।
परिजनों की मांग के बाद डीआईजी ने सौरबाजार थानाध्यक्ष अजय कुमार पासवान को लाइन हाजिर करने का आदेश दिया।
फिलहाल थाने में नए थानाध्यक्ष की नियुक्ति को लेकर कोई निर्णय नहीं हुआ है। मामले के संजीदा और संवेदनशील होने के कारण पुलिस प्रशासन पूरे मामले पर कड़ी नजर रखे हुए है तथा जांच में तेजी लाई गई है।