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मधेपुरा में बढ़ई की हत्या का पुलिस ने किया खुलासा: विधवा भाभी से अवैध संबंध बना बने हत्या की वजह, तीन गिरफ्तार
मधेपुरा। गम्हरिया थाना क्षेत्र के सिहपुर में बढ़ई रविंद्र शर्मा की हत्या का मधेपुरा पुलिस ने पूरा खुलासा कर दिया है। बुधवार को सदर थाना में आयोजित प्रेस वार्ता में एसपी संदीप सिंह ने बताया कि हत्या की जड़ में परिवार के भीतर चल रहा अवैध संबंध था। मृतक रविंद्र शर्मा का अपनी विधवा भाभी से अवैध संबंध था, जिससे भतीजा गुड्डू कुमार नाराज़ था और इसी कारण उसने अपने चाचा की हत्या की साजिश रची।
भतीजे ने स्वीकारा अपराध: “चाचा का मेरी मां से अवैध संबंध था”
तकनीकी जांच और मोबाइल लोकेशन के आधार पर गिरफ्तार गुड्डू कुमार ने पूछताछ में खुलासा किया कि उसके चाचा का उसकी विधवा मां से लंबे समय से अवैध संबंध था। कई बार मना करने के बाद भी रविंद्र शर्मा इस रिश्ते को जारी रख रहे थे। इससे परिवार और समाज में बदनामी हो रही थी। इसी गुस्से में गुड्डू ने अपने चाचा को मारने का निर्णय लिया।
भाई और दोस्त के साथ मिलकर बनाई हत्या की योजना
एसपी के अनुसार, गुड्डू ने अपने भाई प्रिंस कुमार और सुपौल जिले के कोशलीपट्टी निवासी मनीष कुमार को साथ लेकर हत्या की प्लानिंग की। 25 नवंबर की शाम तीनों ने सिहपुर हनुमान मंदिर के पास रविंद्र शर्मा को घेरकर ताबड़तोड़ फायरिंग शुरू कर दी। गोली लगने से गंभीर रूप से घायल रविंद्र को अस्पताल ले जाया गया, लेकिन रास्ते में ही उनकी मौत हो गई।
पहले अज्ञात अपराधियों के खिलाफ दर्ज हुआ था मामला
घटना के बाद मृतक की पत्नी चुन्नी देवी ने अज्ञात अपराधियों के विरुद्ध आवेदन दिया था। मामले की गंभीरता को देखते हुए एसपी ने एसडीपीओ के नेतृत्व में एक विशेष टीम गठित की। तकनीकी विश्लेषण, मोबाइल ट्रैकिंग और स्थानीय इनपुट के आधार पर पुलिस ने गुड्डू को हिरासत में लेकर पूछताछ की, जहां उसने पूरा राज खोल दिया।
गुड्डू के बयान पर दो और गिरफ्तार, हथियार बरामद
गुड्डू ने बताया कि हत्या में तीनों की सक्रिय भूमिका थी—
- प्रिंस कुमार लाइनर की भूमिका में था
- गुड्डू और मनीष ने फायरिंग की
गुड्डू के खुलासे के बाद पुलिस ने प्रिंस कुमार और मनीष कुमार को भी गिरफ्तार कर लिया। मनीष की तलाशी में पुलिस ने एक देसी पिस्टल, एक देसी सिक्सर, एक देसी कट्टा और चार जिंदा कारतूस बरामद किए।
स्पेशल टीम और गम्हरिया पुलिस की बड़ी भूमिका
छापेमारी और गिरफ्तारी अभियानों में गम्हरिया थानाध्यक्ष लवकुश कुमार, एसडीपीओ की विशेष टीम सहित कई पुलिसकर्मियों का महत्वपूर्ण योगदान रहा। पुलिस पूरे मामले को संगठित और योजनाबद्ध हत्या मान रही है और आगे की जांच जारी है।