सुपौल। प्रखंड अंतर्गत गोविदपुर पंचायत में निर्माणाधीन पंचायत सरकार भवन के स्थलीय चयन में मुखिया की मनमानी एवं पदाधिकारियों की मिलीभगत के विरुद्ध ग्रामीण रविवार की शाम से अनशन पर बैठ गए हैं। राज्य सरकार द्वारा गांव में ही आय, जाति सहित तमाम मौलिक सुविधाओं को उपलब्ध कराने के लिए पंचायत सरकार भवन के बनाए जाने का प्रावधान है। उसी भवन के हो रहे निर्माण कार्य को गलत जगह पर निर्माण किए जाने का आरोप ग्रामीण लगा रहे हैं।
पंचायत क्षेत्र के मध्य में स्थित उत्क्रमित माध्यमिक विद्यालय गोविदपुर के प्रांगण में स्थित काली मंदिर के सामने अनशन पर बैठे आधा दर्जन से अधिक लोगों को ग्रामीणों का समर्थन प्राप्त है। ग्रामीणों के अनुसार अनशन की सूचना जिलाधिकारी को दी गई है। जिलाधिकारी को प्रेषित आवेदन में दर्शाया गया है कि उक्त पंचायत में मुखिया द्वारा बिना आमसभा के पंचायत के अंतिम छोर पर पदाधिकारी की मिलीभगत से उक्त भवन का निर्माण कराया जा रहा है। जिसके संदर्भ में पूर्व से ही पंचायत वासियों ने हस्ताक्षरित आवेदन के साथ शिकायत भी की। उक्त आवेदन के आलोक में न तो कोई कार्रवाई की गई ना ही निर्माण कार्य पर रोक लगाया गया। पंचायत के मध्य में सरकारी पांच बीघा जमीन उपलब्ध है। लेकिन पंचायत के मुखिया अपने घर से महज दो-ढाई सौ मीटर की दूरी पर अपनी जमीन देकर निजी स्वार्थवश पंचायत सरकार भवन को घर के समीप निर्माण करवाने में काफी तेजी से जुटे हुए हैं। इस कार्य में प्रखंड व अनुमंडल स्तर के पदाधिकारी भी नियमों की अनदेखी कर अवैध निर्माण में सहयोग देते नजर आ रहे हैं। इस निर्माण से पंचायत के कुल 14 वार्डो में से 11 वार्ड के लोगों को 3-7 किलोमीटर की दूरी तय कर पंचायत सरकार भवन तक जाने की मजबूरी हो जाएगी। पंचायत के मध्य में स्थित विद्यालय की जमीन पर भवन के बनने से सबों को सहूलियत होगी। ऐसा भी नहीं कि विद्यालय की जमीन में पंचायत स्तरीय अन्य कार्यालय नहीं है। अन्य कार्यालय के रहने के बावजूद उक्त भवन का वहां निर्माण नहीं करना मुखिया के द्वारा सिर्फ पंचायतवासी ही नहीं पंचायत के पंसस सहित अन्य जनप्रतिनिधियों का घोर अपमान है। जांच की होती रही लीपापोती
आवेदन के आलोक में कई बार पदाधिकारियों की जांच टीम भी ग्रामीणों के बीच पहुंचकर उक्त विद्यालय के प्रांगण में स्थिति का जायजा लेकर ग्रामीणों को आश्वस्त कराते रहे। वहीं ग्रामीणों का आरोप है कि पदाधिकारी किसी दबाववश स्थलीय जांच की लीपापोती कर ग्रामीणों को गुमराह करते रहे। जिसका परिणाम रहा कि मुखिया के मन के मुताबिक चिन्हित जगह पर निर्माण कार्य प्रारंभ भी हो गया। ग्रामीणों को जांच रिपोर्ट का पता भी नहीं चल सका। ग्रामीणों का आक्रोश अब फूट पड़ा है।
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अविलंब काम बंद कराने और जांच की उठाई मांग
मुखिया व पदाधिकारी के रवैये से क्षुब्ध ग्रामीणों ने रविवार की दोपहर बाद से ही अनिश्चित कालीन आमरण अनशन पर बैठकर अवैध रूप से चल रहे निर्माण कार्य को बंद कराने सहित न्यायोचित जगह पर पंचायत सरकार भवन के निर्माण कार्य की मांग कर रहे हैं। अनशनकारियों का कहना है कि जब तक उनकी मांगों पर संबंधित पदाधिकारी विचार नहीं करेंगे तबतक वे लोग अनशन पर ही बैठेंगे।